अपि स्वर्णमयी लंका न मे लक्ष्मण रोचते
जननी जन्मभूमिश्च स्वर्गादपि गरीयसी ॥
सचिन देव बर्मन का धीर-गम्भीर स्वर उन्हीं के जादुई संगीत में
=================================
सम्बंधित कड़ियाँ
=================================
* माँ - मिताली पुनेठा
* माँ - दिगम्बर नासवा
* माँ - अनुराग शर्मा
* प्यारी माँ - दर्शन कौर धनोए
* अम्मा के सपने - आराधना चतुर्वेदी ’मुक्ति’
* आँचल की छाया - विनोद कुमार पांडेय
* माँ (कविता) - पण्डित ओम व्यास
* माँ (काव्य पाठ विडियो) - पंडित ओम व्यास
=================================
वन्दे मातरम्!
पुरातन पोस्ट पत्रावली
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें